सामाजिक कार्यकर्ता एवं कारोबारी हरेश मेहता (63) ने भारतीय दंड संहिता की धारा-499 और 500 (आपराधिक मानहानि से जुड़ी) के तहत राष्ट्रीय जनता दल (राजद) नेता के खिलाफ शिकायत दाखिल की है।
अहमदाबाद: गुजरात के अहमदाबाद की एक अदालत ने सोमवार को कहा कि वह बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव के खिलाफ दायर आपराधिक मानहानि शिकायत की जांच करेगी और इसके तहत 20 मई को गवाहों से पूछताछ किए जाने की संभावना है। तेजस्वी यादव की ‘गुजरातियों’ को लेकर की गई एक कथित टिप्पणी को लेकर यहां की अदालत में आपराधिक मानहानि की शिकायत दाखिल की गई थी। तेजस्वी ने कथित तौर पर कहा था कि ‘‘केवल गुजराती ठग हो सकते हैं।”
धारा 202 के तहत जांच करेगी कोर्ट
सामाजिक कार्यकर्ता एवं कारोबारी हरेश मेहता (63) ने भारतीय दंड संहिता की धारा-499 और 500 (आपराधिक मानहानि से जुड़ी) के तहत राष्ट्रीय जनता दल (राजद) नेता के खिलाफ शिकायत दाखिल की है। अपर मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट डी.जे. परमार की अदालत राजद नेता को समन जारी करने का फैसला करने से पहले सीआरपीसी (दंड प्रक्रिया संहिता) की धारा 202 के तहत उनके खिलाफ जांच करेगी। सीआरपीसी की धारा 202 आरोपी के खिलाफ सामग्री के आधार पर समन जारी करने के उद्देश्य से जांच से संबंधित है। मेहता के वकील पी. आर. पटेल ने कहा कि अदालत सीडी और पेन ड्राइव में प्रस्तुत साक्ष्य की प्रामाणिकता की जांच करेगी। उनमें (सीडी और पेन ड्राइव में) शिकायतकर्ता द्वारा प्रस्तुत यादव की कथित टिप्पणी है।
20 मई को होगी सुनवाई
पटेल ने कहा कि यह मामले की 20 मई को होने वाली अगली सुनवाई के दौरान उन लोगों से भी पूछताछ करेगी, जिन्होंने उक्त टिप्पणी को सुना था। मेहता ने मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट की अदालत में शिकायत दाखिल की थी और 21 मार्च को पटना में मीडिया से बातचीत में यादव द्वारा दिये गए बयान का सबूत पेश किया था। यादव ने कथित तौर पर कहा था, ‘‘मौजूदा स्थिति में केवल गुजराती ही ठग हो सकते हैं और उनकी धोखाधड़ी (अपराध) को माफ कर दिया जाएगा। अगर वे एलआईसी (भारतीय जीवन बीमा निगम) या बैंकों का पैसा लेकर भाग जाएंगे, तो कौन जिम्मेदार होगा?”
शिकायत में कहा गया है कि मीडिया के समक्ष दिए गए बयान में पूरे गुजराती समुदाय को ‘ठग’ कहा गया है, जो सभी गुजरातियों की सार्वजनिक रूप से मानहानि करता है और उन्हें अपमानित करता है। एक अन्य मामले में अहमदाबाद की एक अदालत ने दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल एवं आम आदमी पार्टी (आप) के सांसद संजय सिंह को गुजरात विश्वविद्यालय द्वारा दायर एक आपराधिक मानहानि मामले में समन जारी किया है और उन्हें 23 मई को पेश होने के लिए कहा गया है। गुजरात विश्वविद्यालय ने संस्थान पर उनकी टिप्पणी को लेकर यह मामला दायर किया था। गुजरात विश्वविद्यालय ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की शैक्षणिक डिग्री के संबंध में दिये गये उच्च न्यायालय के एक फैसले के बारे में उनके मीडिया बयानों और सोशल मीडिया पोस्ट को लेकर ‘आप’ के दो नेताओं के खिलाफ मामला दायर किया था।
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