पटना का रंगमंच से पुराना नाता रहा है। आज़ादी के पहले से पटना में कई नाट्य मंडली स्थापित थी, लेकिन बदलते जमाने के साथ थिएटर अपने अस्तित्व को बचाने की लड़ाई लड़ रहा है। अब विलुप्त होते थिएटर को फिर से पुनः जन्म देने की कोशिश बिहार की राजधानी पटना में शुरू की गई है। पटना के कला प्रेमी सुमन सिन्हा ने हाउस ऑफ वेराइटी थिएटर की शुरुआत की है, जो पटना के रीजेंट सिनेमा प्रांगण में स्थित है।
इस थिएटर में 49 लोगों के बैठने की सुविधा
इस थिएटर ऑडिटोरियम में 49 लोगों के बैठने की सुविधा है। साथ ही इस मंच के माध्यम से देश के कई भागों के रंगमंच के कलाकार अपनी प्रस्तुति देंगे। हाउस ऑफ वेराइटी के उद्घाटनकर्ता प्रसिद्ध रंगकर्मी रोबिन दास ने बताया कि ऐसे शुरुआत से थिएटर के क्षेत्र में काफी विकास होगा। इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के तौर पर आए प्रसिद्ध रंगकर्मी सह अभिनेता सौरव शुक्ला ने कहा कि यह अच्छी शुरुआत है, इससे बड़ा कल्चरल हब हो ही नहीं सकता हैं।
वहीं हाउस ऑफ वेराइटी के फाउंडर सुमन सिन्हा ने कहा कि इस थिएटर में रंगमंच के अलावा आर्ट, म्यूजिक योग में भी बच्चे ट्रेनिंग ले सकते हैं और अपने कला को निखार सकते हैं। बात दें कि पटना के रंगमंच से जुड़े रहने वाले कई रंगकर्मी आज सिनेमा जगत में अपनी पहचान बनाने में कामयाब हुए हैं। इनमें संजय त्रिपाठी, संजय मिश्र, रामायण तिवारी, विनोद सिन्हा, अखिलेंद्र मिश्र, विनीत कुमार, अजित अस्थाना, दिलीप सिन्हा, पंकज त्रिपाठी, विनीत कुमार आदि कई रंगमंच से जुड़े कलाकार रहे हैं। अब इस तरह की शुरुआत से बिहार में रंगमंच को नया रंग मिलेगा।
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