केंद्रीय जांच एजेंसी पर दबाव डालने का असफल प्रयास
पटना। स्वास्थ्य मंत्री श्री मंगल पांडेय ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी के खिलाफ प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की कार्रवाई पर कांग्रेसियों के प्रदर्शन को ‘चोरी और सीनाजोरी’ करार दिया है। श्री पांडेय ने कहा कि कांग्रेस पर भ्रष्टाचार की जननी होने का आरोप है, जिसने पूरे 70 साल तक देश को लूटा है। कांग्रेस आलाकमान सहित उनके बेटे और दामाद सहित अन्य नेताओं के नाम एक-दो नहीं, बल्कि दर्जनों घोटाले इतिहास के पन्ने में दर्ज हैं। बावजूद कांग्रेस केंद्रीय जांच एजेंसी के खिलाफ सियासी ड्रामा कर कानूनी प्रक्रिया में व्यवधान डाल रही है। कांग्रेस को भूलना नहीं चाहिए कि कानून की किताब में सभी बराबर होते हैं।
श्री पांडेय ने कहा कि यह जगजाहिर है कि न सिर्फ कांग्रेस आलाकमान और उनके परिवार, बल्कि कांग्रेस के कई कद्दावर नेताओं पर भ्रष्टाचार के आरोप लगे हैं। कोयला, स्पैक्ट्रम, कॉमनवेल्थ, डीएलएफ, नेशनल हेराल्ड जैसे कई घोटालों की लिस्ट हैं, जिसके तार सीधे कांग्रेस नेताओं से जुड़े हैं। कांग्रेस की शासन व्यवस्था की पृष्ठभूमि कई घोटालों के इर्द-गिर्द घूमती रही है। सोमवार को जब नेशनल हेराल्ड मामले में ईडी के सामने कांग्रेस के युवराज की पेशी हुई तो पूरे देश में कांग्रेस का विरोध प्रदर्शन उनकी नाकामी और हताशा को जाहिर करता है। कांग्रसियों को अब कानून पर भी भरोसा नहीं रह गया है। देश का संविधान कहता है कि यदि कोई भी दोषी पाए जाएंगे तो कानूनी प्रक्रिया से गुजरना स्वाभाविक है। मगर कांग्रेस विपक्ष में बैठ कर दादागिरी कर रही है और देशविरोधी कार्यों में लगी है।
श्री पांडेय ने कहा देश भर में कांग्रेस ने प्रदर्शन कर यह साबित किया कि उसका कानून में विश्वास नहीं रह गया है। अपने युवराज नहीं, बल्कि कांग्रेस भ्रष्टाचार के समर्थन में उतरी है, जो जेल से बेल पर हैं। युवराज ने केंद्रीय एजेंसी से अपने आपको घिरता देख घोषणा की है कि ‘आओ दिल्ली को घेरो’। उनकी यह योजना ‘चोर की दाढ़ी में तिनका’ वाली कहवात को चरितार्थ करता है। एक जांच एजेंसी पर दबाव डालने के लिए कांग्रेस शासित मंत्रियों को आमंत्रित किया गया। एजेंसी पर इस तरह से दबाव डालने को आप क्या नाम देंगे। अगर कांग्रेस के युवराज पाक साफ हैं, तो कानून का सामना करने से क्यों घबरा रहे हैं। इससे यह साबित होता है कि दाल में कुछ काला है। ईडी के खिलाफ कांग्रेस का देशव्यापी प्रदर्शन घोटाले में कांग्रेस नेता राहुल गांधी को बचाने की नाकाम कोशिश है।
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