बिहार में महागठबंधन में शामिल सभी दलों के नेता विधानमंडल गेट से लेकर विधानसभा पोर्टिकों तक पैदल मार्च करते हुए सदन पहुंचे। इस दौरान उनके हाथों में पोस्टर बैनर के देखे गए, जिसमें लिखा हुआ था कि मोदी हटाओ लोकतंत्र बचाओ।
पटना : कांग्रेस सांसद राहुल गांधी को ‘मोदी सरनेम’ पर विवादित टिप्पणी करने पर 2 साल की सजा सुनाई गई है। उनको सजा सुनाने के बाद कांग्रेस पार्टी के तरफ से विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिया गया है। इस बीच बिहार विधानसभा बजट सत्र में सदन के बाहर कांग्रेस की तरफ से जोरदार हंगामा किया गया, जिसमें राजद और भाकपा माले के विधायकों ने भी कांग्रेस पार्टी का समर्थन किया।
महागठबंधन में शामिल दलों के नेताओं ने निकाला पैदल मार्च
बिहार में महागठबंधन में शामिल सभी दलों के नेता विधानमंडल गेट से लेकर विधानसभा पोर्टिकों तक पैदल मार्च करते हुए सदन पहुंचे। इस दौरान उनके हाथों में पोस्टर बैनर के देखे गए, जिसमें लिखा हुआ था कि मोदी हटाओ लोकतंत्र बचाओ। इस दौरान बिहार के गठबंधन में शामिल दलों के नेताओं का कहना था कि, केंद्र सरकार विपक्ष मुक्त भारत बनाने की साजिश कर रही है। वहीं जेडीयू चुप -चाप मूकदर्शक बनकर पुरे प्रदर्शन को देखती रही। प्रदर्शन के दौरान कांग्रेस विधायक शकील अहमद खान ने कहा कि इस मामले में सब साथ है। चट्टानी एकता के साथ हम सातों पार्टी साथ हैं।
प्रदर्शन में शामिल न होने पर जदयू ने दी सफाई
वहीं महागठबंधन के इस प्रदर्शन में जदयू के नहीं शामिल होने के जवाब पर जदयू एमएलसी ने कहा कि पार्टी नेतृत्व का मामला है, इसकी जानकारी नहीं है। महागठबंधन के प्रदर्शन पर पूर्व डिप्टी सीएम तारकिशोर प्रसाद ने महागठबंधन पर हमला बोला है। उन्होंने कहा कि बाबा साहेब के अनुसंशा पर यह संविधान बना है यह संविधान का ही अंग है, जब कांग्रेस सत्ता में नहीं रहती है तो वो सहन नहीं कर पाती उसी का नतीजा यह प्रदर्शन है।
बता दें कि मानहानि के मामले में सूरत की अदालत ने राहुल गांधी को दोषी करार दिया है और उन्हें 2 सालों की सजा हुई है। उनके सजा के खिलाफ जहां महागठबंधन के सारे दल साथ नज़र आए वहीं जदयू का किनारा बड़ा सवाल खड़ा कर रहा है।
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